फूलन देवी
एक दस साल की लड़की, जो अपने बाप की जमीन के लिए लड़ गई थी. या एक बालिका-वधू, जिसका पहले उसके बूढ़े ‘पति’ ने रेप किया, फिर श्रीराम ठाकुर के गैंग ने. या एक खतरनाक डाकू, जिसने बेहमई गांव के 22 लोगों को लाइन में खड़ा कर मार दिया था. या फिर उस ‘चालाक’ औरत के रूप में, जो शुरू से ही डाकुओं के गैंग में शामिल होना चाहती थी. वो औरत, जिसकी जिंदगी पर फिल्म बनाकर उसका बलात्कार दिखाने वाले शेखर कपूर ने उससे पूछा भी नहीं था. या शायद एक पॉलिटिशियन के तौर पर, जिसने दो बार चुनाव जीता. या फिर एक औरत, जो खुद से मिलने आये ‘फैन’ शेर सिंह राणा को नागपंचमी के दिन खीर खिला रही थी, बिना ये जाने कि कुछ देर बाद यही आदमी उसे मार देगा. --- Send in a voice message: https://anchor.fm/dr-rakshit-bagde/message